परमात्मा मां ही ईश्वर हमारा- शालिनी यादव
शालिनी यादव
जो कि सफेदाबाद बाराबंकी उत्तर प्रदेश की रहने वाली हैं , द्वारा रचित यह कविता( मां परमात्मा, मां ही ईश्वर हमारा
)
यहाँ माँ पर हिंदी कविता लिखी गयी है .माँ वह है जो हमें जन्म देने के साथ ही हमारा लालन-पालन भी करती हैं। माँ के इस रिश्तें को दुनियां में सबसे ज्यादा सम्मान दिया जाता है।

मां परमात्मा मां ही ईश्वर हमारा- शालिनी यादव
मां संग बचपन अच्छा होता,
हर सपना सच्चा होता ,
हर मांग को पूरा करती ,
हर इच्छा को पूरा करती।
मैं उस समय की रानी होती
महलों की राजकुमारी होती ।
चाहे कुछ भी हो जाए
चाहे यह समय भी रुक जाए ।
पर मां के जैसा न कोई ,
हमारे लिए वो रात भर न सोई ।
सब रिश्ते दिखावे के मंदिर
महजिस्द गिरजाघर गुरुद्वारा,
मां के बिना कोई नहीं सहारा
उसके आगे ईश्वर भी हारा
उसके बिना कोई नहीं हमारा।
उसके आगे फीका ये संसार सारा ।
वो हमारी जन्मदाता वही स्वर्ग हमारा ,
मां परमात्मा, मां ही ईश्वर हमारा।
शालिनी यादव
wah wah