गणतंत्र दिवस – डॉ एन के सेठी
लोकतंत्र का पर्व मनाएं।
सभी खुशी से नाचे गाएं।।
दुनिया में है सबसे न्यारा।
यहभारत गणतंत्र हमारा।।
इसकी जड़ है सबसे गहरी।
इसकी रक्षा करते प्रहरी।।
सबसे बड़ा विधान हमारा।
नमन करे जिसको जग सारा।।
लोकतंत्र का महापर्व है।
हमको इस पर बड़ा गर्व है।।
भारत प्यारा वतन हमारा।
ये दुनिया में सबसे न्यारा।।
भिन्न – भिन्न जाती जन रहते।
विविध धर्म भाषा को कहते।।
नाना संस्कृतियों का संगम है।
खुशियाँ होती कभी न कम है।।
उत्सव अरु त्यौहार मनाते।
इक दूजे से प्यार जताते।।
नारी का सम्मान यहाँ है।
मेहमान का मान यहाँ है।।
वसुधा को परिवार समझते।
सर्वसुख की कामना करते।।
करती पावन गंगा-धारा।
सूरज फैलाए उजियारा।।
हम दुश्मन को गले लगाते।
सबमिल गीत खुशी के गाते।।
करता हमसे जो गद्दारी।
मिटती उसकी हस्ती सारी।।
रण में पीठ न कभी दिखाते।
दुश्मन के हम होश उड़ाते।।
त्याग शील पुरुषार्थ जगाएं।
लोकतंत्र का मान बढ़ाएं।।
©डॉ एन के सेठी