कविता बहार

कविता बहार

"कविता बहार" हिंदी कविता का लिखित संग्रह [ Collection of Hindi poems] है। जिसे भावी पीढ़ियों के लिए अमूल्य निधि के रूप में संजोया जा रहा है। कवियों के नाम, प्रतिष्ठा बनाये रखने के लिए कविता बहार प्रतिबद्ध है।

हमर गंवई गाँव

हमर गंवई गाँव 1 आबे आबे ग सहरिया बाबूहमर गंवई गाँवगड़े नही अब कांटा खोभातुंहर कुँवर पांवआबे आबे सहरिया बाबूहमर गंवई गाँव।। 2 गली गली के चिखला माटीवहु ह अब नंदागे।पक्की सड़क पक्का नालीहमरो गांव म छागे।लइका मन बर स्कूल…

बचपन पर कविता

बचपन पर कविता चिलचिलाती हुई धूप मेंनंगे पाँव दौड़ जाना,याद आता है वो बचपनयाद आता है बीता जमाना।माँ डांटती अब्बा फटकारतेकभी-कभी लकड़ी से मारतेभूल कर उस पिटाई कोजाकर बाग में आम चुराना।याद आता है वो बचपनयाद आता है बीता जमाना।या…

अचरज मा परगे

अचरज मा परगे कोठी तो बढ़हर के* छलकत ले भरगे।बइमानी के पेंड़ धरे पुरखा हा तरगे॥अंतस हा रोथे संशो मा रात दिन।गरीब के आँसू हा टप-टप ले* ढरगे॥सुख के सपुना अउ आस ओखर मन के।बिपत के आगी मा सब्बो* हा …

बच्चे होते मन के अच्छे

kids

बच्चे होते मन के अच्छे खेल कूद वो दिन भर करते,रखते हैं तन मन उत्साह।पेड़ लगा बच्चे खुश होते,चलते हैं मन मर्जी राह।।मम्मी पापा को समझाते,बन कर ज्ञानी खूब महान।बात बडों का सुनते हैं वे,रखते मोबाइल का ज्ञान।। रोज लगा…

अभाव-गुरु

अभाव-गुरु “उस वस्तु का नहीं होना” मैं,जरूरत सभी जन को जिसकी।प्रेरक वरदान विधाता का,सीढ़ी मैं सहज सफलता की।।1अभिशाप नहीं मैं सुन मानव,तेरी हत सोंच गिराती है।बस सोंच फ़तह करना हिमगिरि,यह सोंच सदैव जिताती है।।2वरदान और अभिशाप मुझेतेरे ही कर्म बनाते…