"कविता बहार" हिंदी कविता का लिखित संग्रह [ Collection of Hindi poems] है। जिसे भावी पीढ़ियों के लिए अमूल्य निधि के रूप में संजोया जा रहा है। कवियों के नाम, प्रतिष्ठा बनाये रखने के लिए कविता बहार प्रतिबद्ध है।
तिरंगा शान हमारी आन~प्राणों से बढ़करतिरंगा शान पूजनीय है~माटी का कण-कणवन्दनीय है भारत माता~बच्चा-बच्चा कुर्बानझुकता माथा पावन माटी~वीरों के लहू सनीहै हल्दीघाटी …
झुकेगा सर नहीं अपना झुकेगा सर नहीं अपना, किसी तलवार के आगे।अटल होकर खड़े होंगे, बुरे व्यवहार के आगे। बढ़ायेंगे कदम अपने, न जब तक लक्ष्य हो हासिल।बढ़ेंगे नित्य हम…
अंतर्द्वंद्व बड़ा अलबेला द्वंद्वभरी जीवन की राहें,भटक रहे तुम मन अलबेले!संतोषी मग पकड़ बावरे,इस जीवन के बड़े झमेले!! तृप्त हुआ तू नहीं आज तक,मनमर्जी रथ को दौड़ाया!चौराहे पर फिरा भटकता,ज्यों…
मिलते हैं हमसफर कैसा भी सफर होसाथ से कट जातासुविधा से व्यक्तिमंजिल तक पहुँचता । अब सफर स्कूल तकसफर खेल मैदान कापनघट तक का होया फिर मंदिर मस्जिदया उत्सव त्यौहार…
आज मैं बोलूंगा आज मैं बोलूंगा…खुलकर रखूंगा अपने विचार…अभिव्यक्ति की आजादी जो हैं…सीधे सपााट, सटीक शब्द रखूंगा…आम जनता के मन मस्तिष्क में ..समाने वाले..मस्तिष्क की गहराईयोंं तक…उतर जायेंगे…मौन शब्द…करेंगे …प्रहार…
बंद का समीकरण-रमेश कुमार सोनी बंद है दुकानें, कारोबारभारत बंद का हल्ला हैलौट रहे हैं मज़दूर, कामगारअपने डेरों की ओर खाली टिफिन,झोला लिए हुए,बंद हैं रास्ते, अस्पतालशहर का सूनापन चुभ…
तुम फूल नहीं बन सकती कलतुम गुल थी,गुलाब थी,एक हसीन ख्व़ाब थी।हर कोईदेखना चाहता था तुम्हें !हर कोई….छूना चाहता था तुम्हें !!कल तकपुरुष ने तुम्हेंकेवल कुचोंऔर नितम्बों केआकार में देखा..तुमकेवल…
सुंदर सा मेरा गाँव यही सुंदर सा मेरा गाँवपले हम पाकर सबका प्यार।यहाँ बनता नहीं धर्म तनावयहीं अपना सुखमय संसार।बजे जब यहाँ सुबह के चारकरें जब नृत्य विपिन में मोर।…