बुरा वक्त भी गुजर जाएगा,कविता, महदीप जंघेल

कविता संग्रह

बुरे वक्त में हमारा धैर्य और आत्मविश्वास हमे संबल प्रदान करती है।
अतः आपातकाल में भी टूटना नही है। वक्त महान होता है।

बुरा वक्त भी गुजर जाएगा,कविता, महदीप जंघेल

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प्रेरणा दायक कविता – तुझको विजय-पराजय से क्या?

प्रेरणा दायक कविता

प्रेरणा दायक कविता – तुझको विजय-पराजय से क्या? चल तू अपनी राह पथिक चल, तुझको विजय-पराजय से क्या?होने दे होता है जो कुछ, उस होने का फिर निर्णय क्या? भँवर उठ रहे हैं सागर में, मेघ उमड़ते हैं अम्बर में।आँधी और तूफान डगर में।तुझको तो केवल चलना है, चलना ही है तो फिर भय क्या?तुझको … Read more

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अंतः प्रेरणा कविता

प्रेरणा दायक कविता

यह रचना उल्लाला छंद है जो अंतः प्रेरणा से संबंधित है।
कवयित्री पद्मा साहू “पर्वणी”
खैरागढ़ छत्तीसगढ़

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कर्तव्य-बोध-रामनरेश त्रिपाठी

kavita

कर्तव्य-बोध -रामनरेश त्रिपाठी जिस पर गिरकर उदर-दरी से तुमने जन्म लिया है।जिसका खाकर अन्न सुधा सम नीर समीर पिया है। जिस पर खड़े हुए, खेले, घर बना बसे, सुख पाए।जिसका रूप विलोक तुम्हारे दृग, मन, प्राण जुड़ाए॥ वह स्नेह की मूर्ति दयामयि माता तुल्य मही है।उसके प्रति कर्त्तव्य तुम्हारा क्या कुछ शेष नहीं है।हाथ पकड़कर … Read more

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प्यार से दुश्मनी को मिटा दंगे हम-अनिल कुमार गुप्ता “अंजुम”

कविता संग्रह

इस कविता के माध्यम से कवि दुनिया से दुश्मनी को ख़त्म करना चाहता है और मुहब्बत से रहने को प्रेरित कर रहा है |
प्यार से दुश्मनी को मिटा दंगे हम– कविता – मौलिक रचना – अनिल कुमार गुप्ता “अंजुम”

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भारत है आने वाले कल का आगाज़ – अनिल कुमार गुप्ता “अंजुम”

tiranga

इस रचना में हमारे महान देश भारत की सांस्कृतिक विशेषताओं की समाहित किया गया है |
भारत है आने वाले कल का आगाज़ – कविता – मौलिक रचना – अनिल कुमार गुप्ता “अंजुम”

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कर्म कर ले प्यारे – अनिल कुमार गुप्ता “अंजुम”

इस रचने में कर्म को प्रधानता दी गयी है |
कर्म कर कर्म कर – कविता – मौलिक रचना – अनिल कुमार गुप्ता “अंजुम”

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हिंदी संग्रह कविता-बलि पथ का इतिहास बनेगा

कविता संग्रह

बलि पथ का इतिहास बनेगा बलि पथ का इतिहास बनेगामर कर जो नक्षत्र हुए हैं उनसे ही आकाश बनेगा। सह न सकें जो भीषणता को, सर पर बाँध कफन निकले थे,देख उन्हें मुस्करा कर जाते, पत्थर भी मानों पिघले थे।इस उत्सर्गमयी स्मिति से ही माँ का मधुर सुहास बनेगा। कायरता ने शीश झुका जब, हार … Read more

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रिश्तों का ख़ून – 15 मई विश्व परिवार दिवस विशेष कविता

परिवार

ख़ून के रिश्ते सम्भालो,
रिश्तों का ना ख़ून करो।।

परिवार – सिर्फ पति-पत्नी और एक-दो बच्चों से ही नहीं बल्कि परिवार पूरा खानदान होता है। हमारे खून के रिश्ते ही मिलकर एक परिवार बनता है – राकेश सक्सेना

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15 मई विश्व परिवार दिवस पर लेख

परिवार

15 मई विश्व परिवार दिवस पर लेख पढ़ने से पहले आप इस विषय पर अब तक कविता बहार में संग्रहित रचनाएँ पढ़िए :-

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