Tag मनीभाई नवरत्न कविताएँ

ईश्वर का सौदा – मनीभाई नवरत्न की व्यंग्यात्मक कविता

मनीभाई नवरत्न की कविता “ईश्वर का सौदा” समाज पर व्यंग्य करती है कि कैसे इंसान ने ईश्वर को राजनीति, जात-पांत और व्यापार का साधन बना दिया है। पढ़ें यह विचारोत्तेजक रचना। ईश्वर अनंत, शाश्वत और सर्वव्यापी है। लेकिन समय के…

ईश्वर का अपमान – मनीभाई नवरत्न की विचारोत्तेजक कविता

मनीभाई नवरत्न की कविता “ईश्वर का अपमान” में बताया गया है कि इंसान ने ईश्वर की महानता को सीमित कर दिया है। पढ़ें यह विचारोत्तेजक रचना जो समाज की सोच पर गहरा प्रहार करती है।ईश्वर सर्वव्यापी है, उसे किसी मंदिर…