विदाई के पल पर कविता

विदाई के पल पर कविता वर्षों से जुड़े हुए कुछ पत्तेआज बसंत में टूट रहे हैं ।जरूरत ही जिनकी पेड़ मेंफिर भी नाता छूट रहे हैं। यह पत्ते होते तो बनती पेड़ की ताकत ।इन की छाया में मिलती सबको राहत ।पर सबको मंजिल तक जाना है।सबने बनाई है अपनी-अपनी चाहत ।इन की विदाई से … Read more