तेरे लिए करूं दुआ हर पल सदा

तेरे लिए करूं दुआ हर पल सदा

तेरे लिए करूं दुआ, हर पल सदा ,तुझे ना पता।
देखकर अनदेखा, ना कर जाने जा और ना सता।

ख्वाबों की लकीर, पर बनती है तेरी तस्वीर ।
छूना चाहूं, छू ना पाऊं हाथों में कैसी जंजीर?
फिर खो जाऊं ,ओझल हो जाऊं, मैं लापता।

तेरे लिए ….

चारों तरफ छाया हुआ है तेरा ही तेरा नजारा।
आंखों में है तू ही सदा मिलना चाहूँ मैं दुबारा ।
कैसा हाल है मदहोशी बेमिसाल है हो ना खता। तेरे लिए…

दिवस आधारित कविता