श्याम कैसे मिले राधा से–स्वपन बोस
श्याम कैसे मिले राधा से।
राधा कृष्ण तो एक है ,
फिर भी श्याम जुदा है राधा से
श्याम कैसे मिले राधा से,,,,,,।
प्रेम की ये कैसी पीड़ा है आंसू हैं विरह के दोनों ओर , जैसे जल बिन मीन तरसे।
बीन मेघ सावन में प्रेम की आंसू बरसें।
श्याम कैसे मिले राधा से,,,,,।
श्याम कहें उद्धव से जाओ देख आओ राधा को उनसे मेरा हाल कहना , राधा बीन मैं जी रहा हूं,
बस यह विरह के दुःख ही है सहना
कुछ नहीं कह पाता दिल का हाल यह के अनजान लोगों से।
श्याम कैसे मिले राधा से,,,,,,,।
कंस से युद्ध है , महाभारत है।
सब में विजयी हूं। संसार समझें इस नश्वर जीवन को इसलिए गीता का ज्ञान दूं।सर्व हो पाया राधा के प्रेम से।
श्याम कैसे मिले राधा से,,,,,।
श्याम तो राधा बीन अधुरा है।
राधा भी श्याम बीन अधुरी है।
एक होकर भी जो समझे अलग है आत्मा से ।
कैसे मिले श्याम राधा से,,,।
कर्म फल कटे बस प्रेम से।
फिर मिले श्याम राधा से,,,,,,।
स्वपन बोस,, बेगाना,,
9340433481