Tag Hindi poem on Navratri

प्राचीन काल से शिव-शक्ति रूप की पूजा-अर्चना चली आ रही है। यह एक गूढ़ प्रतीक है। यही वह कुंजी भी है जो शक्ति-तत्व को समझने में सहायक है। शिव का अर्थ है निर्गुण, निराकार, सच्चिदानंद ब्रह्म और शक्ति का अर्थ है, उसी ब्रह्म की अभिव्यक्ति। शिव और शक्ति सुनने में दो शब्द की तरह हैं, लेकिन मूल रूप में वे एक ही हैं।

स्त्री शक्ति प्रतिमूर्ति – साधना मिश्रा

दुर्गा का निरूपण सिंह पर सवार एक देवी के रूप में की जाती है। दुर्गा देवी आठ भुजाओं से युक्त हैं जिन सभी में कोई न कोई शस्त्रास्त्र होते है। उन्होने महिषासुर नामक असुर का वध किया। महिषासुर (भैंसा जैसा…