अंकिता जैन की कविता

अंकिता जैन की कविता विचित्र दुनिया      ये बड़ी विचित्र दुनिया है,यहाँ, विचित्र राग गाया जाता हैं।अपने घाव रो रो कर दिखाते,और दूसरे के घावो पर,नमक लगाया जाता हैं।ये बड़ी विचित्र दुनिया हैं,यहां विचित्र राग गाया जाता हैं।कभी मजहब पर झगड़े होते,तो कभी जात को मुद्दा बनाया जाता हैं,ये बड़ी विचित्र दुनिया है,यहां विचित्र … Read more