तुम गुलाब मैं तेरी पंखुरी – उमा विश्वकर्मा

तुम गुलाब मैं तेरी पंखुरी - उमा विश्वकर्मा gulab par kavita तुम गुलाब, मैं तेरी पंखुरी तुम सुगंध, मैं हूँ सौन्दर्य |तुझमें है लालित्य समाया मुझमें रचा-बसा माधुर्य |सारा जग,…

आ बैठे उस पगडण्डी पर – बाबू लाल शर्मा

आ बैठे उस पगडण्डी पर - बाबू लाल शर्मा HINDI KAVITA || हिंदी कविता आ बैठे उस पगडण्डी पर,जिनसे जीवन शुरू हुआ था।बचपन गुरबत खेलकूद में,उसके बाद पढ़े जमकर थे।रोजगार…

सृजन-गीत – हरिश्चन्द्र त्रिपाठी ‘हरीश

सृजन-गीत कब गायेगा - हरिश्चन्द्र त्रिपाठी 'हरीश कविता संग्रह कोई बता दे मानवता का ,परचम कब लहरायेगा,तहस-नहस को आतुर मानव,सृजन-गीत कब गायेगा। टेक।क्षिति-जल-अम्बर नित विकास के,बन कर साक्ष्य महान हुए,धरा…
कुल्हाड़ी पर कविता – आशीष कुमार

कुल्हाड़ी पर कविता – आशीष कुमार

जीवन मूल्य चुकाती कुल्हाड़ी - आशीष कुमार कुल्हाड़ी तीखे नैन नक्श उसकेजैसे तीखी कटारीरुक रुक कर वार करतीतीव्र प्रचंड भारीअसह्य वेदना सह रहा विशाल वृक्षकाट रही है नन्हीं सी कुल्हाड़ीशक्ति…

स्कूल चलें हम – अकिल खान

स्कूल चलें हम - अकिल खान है नन्हें पैर मेरे,हौसला अफजाई बढ़ाने को,जाता हूँ स्कूल पढ़ने,इस मन को पढ़ाने को।हूं अडिग,एक नया अध्याय लिखने को,जाता हूं स्कूल शिक्षा-ज्ञान सीखने को।शिक्षा…

जीवन पर कविता – कुसुम

मुसाफिर हैं हम जीवन पथ के HINDI KAVITA || हिंदी कविता मुसाफिर हैं हम जीवन पथ केराहें सबकी अलग-अलगधूप-छांव पथ के साथी हैंमंज़िल की है सबको ललक। राही हैं संघर्ष…

जिन्दगी पर कविता – पुष्पा शर्मा

जिन्दगी का मकसद kavita bahar रोज सोचती हूँ।जिन्दगी का मकसदताकती ही रहती हूँमंजिल की लम्बी राह। सोचती ही रहती हूँप्रकृति की गतिविधियाँ,जो चलती रहती अविराम।सूरज का उदय अस्तरजनी दिवस का…

आज भी बिखरे पड़े हैं – गंगाधर मनबोध गांगुली

आज भी बिखरे पड़े हैं - गंगाधर मनबोध गांगुली कविता संग्रह         गंगाधर मनबोध गांगुली " सुलेख "           समाज सुधारक " युवा कवि " कल तक बिखरे पड़े थे ,           आज…