village based Poem

मेरा गाँव – एस के नीरज

*मेरा गाँव* गाँव पर हिंदी कविता तपती दुपहरी सूनी सड़कें पेड़ की छाँवयाद आया गाँवगाँव की गलियाँपनघट पर पानी भरती वो छोरियाँलड़कों की टोली तालाब में लोटतेभैंसों की पीठ पर…

विश्व रिकार्ड के मायने –राजकुमार मसखरे

कविता संग्रह विश्व रिकार्ड के मायने कोई गीत गा करकोई साज बजा करकोई नृत्य करा करकोई लाखो दीप सजा करकोई ऊँचा रावण जला करकोई कुछ कविता बना करकोई गाड़ी फर्राटे…

मेरी बिल्ली मुझसे म्याऊँ-उपमेंद्र सक्सेना

कविता संग्रह मेरी बिल्ली मुझसे म्याऊँ जिससे अपना मतलब निकला, क्यों मैं उसके लात लगाऊँदुनिया का सिद्धांत अनोखा, मेरी बिल्ली मुझसे म्याऊँ।मगरमच्छ के आँसू गिरते, जब वह सुख से भोजन…

अब तो भर्ती-विनोद सिल्ला

कविता संग्रह अब तो भर्ती अब तो भर्ती खोलिए, बहुत हुआ सरकार। पढ़-लिखकर हैं घूमते, युवा सभी बेकार।। नयी-नयी नित नीतियां, सत्ता ने दी थोप।रोजगार की खोज में, चले युवा…

खुशनसीब -माधुरी डड़सेना मुदिता

कविता संग्रह खुशनसीब मैं खुशनसीब हूँ कि मुझे यार मिल गया दिल को बड़ा सकूं है दिलदार मिल गया ।दर दर भटक रहे थे कभी हम यहाँ वहाँअब डर नहीं…

आओ गिलहरी बनें -डाॅ.संजय जी मालपाणी

कविता संग्रह आओ गिलहरी बनें सागर पर जब सेतु बना था, गिलहरी ने क्या काम किया थाजहां-जहां भी दरार रहती, उसने उसको मिटा दिया थावैसे तो वह छोटी सी थी,…

राजनीति बना व्यापार जी – राजकुमार मसखरे

राजनीति बना व्यापार जी कविता संग्रह देखो आज इस राजनीति ककैसे बना गया ये व्यापार जी ,लोक-सेवक अब गायब जो हैंमिला बड़ा उन्हें रोज़गार जी !राजनीति अब स्वार्थ- नीति हैकर…

गुलबहार -माधुरी डड़सेना

कविता संग्रह गुलबहार होश में हमीं नहीं सनम कभी पुकार अबहो तुम्हीं निगाह में हमें ज़रा निहार अब ।वक़्त की फुहार है ये रोज़ की ही बात है दिल मचल…

नशा नाश करके रहे- विनोद सिल्ला

यहां पर नशा नाश करके रहे , जो कि नशा मुक्ति पर लिखी गई विनोद सिल्ला की कविता है। कविता संग्रह नशा नाश करके रहे नशा नाश करके रहे,नहीं उबरता…

औरत पर कविता -हरभगवान चावला

औरत पर कविता औरत को थोड़ा सुख मिलतातो चेहरे पर झलक जातादुख का उसके चेहरे सेबहुत देर तकपता ही नहीं चलता थासबको खिलाने के बादजो बचता, वो खातीऔर सुखी हो…