Tag: #क्रांति

  • गणपति अराधना- कवयित्री क्रान्ति

    गणपति अराधना विघ्नहारी मंगलकारीगणपति लीला अनेक-2 सज रहे हैं मंडप प्रभुबज रहे हैं देखो तालझूम रहे हैं भक्त तुम्हारेप्रभु कर उनका उद्धारविघ्नहारी…………….गणपति…………..2 हर घर में…

  • आजाद देश की दशा पर कविता

    आजाद देश की दशा पर कविता भाई भाई में देखो कितनी लड़ाई हैहर चौराहे पर बैठा देखो कसाई हैपर्दे में आज भी रहती है बहू…

  • नारी की व्यथा पर कविता

    नारी की व्यथा पर कविता

    महिला (स्त्री, औरत या नारी) मानव के मादा स्वरूप को कहते हैं, जो स्त्रीलिंग है। महिला शब्द मुख्यत: वयस्क स्त्रियों के लिए इस्तेमाल किया जाता है। किन्तु कई संदर्भो में यह…

  • बेटी की पुकार

          बेटी की पुकार पिता का मैं ख्याल रखूंगीतेरे कहे अनुसार मैं चलूंगीरूखी सूखी ही मैं खा लूंगीमत मार मुझे सुन मेरी मांमुझे…

  • सेदोका कैसे लिखें (How to write SEDOKA)

    सेदोका कैसे लिखें (How to write SEDOKA) सेदोका रचना विधानसेदोका 05/07/07 – 05/07/07 वर्णक्रम की षट्पदी – छः चरणीय एक प्राचीन जापानी काव्य विधा है…

  • शपथ उठाती हूं मैं भारत की बेटी

    शपथ उठाती हूं मैं भारत की बेटी शपथ उठाती हूं मैं भारत की बेटीमैं कभी भी  सर नहीं झुकाऊंगीलाख कर लो तुम भ्रूण की हत्याफिर…

  • बेटा-बेटी में भेद क्यों पर कविता

    बेटा-बेटी में भेद क्यों पर कविता सागर होते हैं बेटे, तो गंगा होती है बेटियांचांद होते हैं बेटे, तो चांदनी होती हैं बेटियांजग में दोनों…

  • मोम की गुड़िया-बेटियां

    मोम की गुड़िया-बेटियां मोम की गुड़िया सी कोमल होती है बेटियांमाता पिता के दुलार में पलती है बेटियांअनजान घर की बहू बनती तब भी बेटी…

  • आओ मिलकर पेड़ लगाएं

    आओ मिलकर पेड़ लगाएं सूनी धरा को फिर खिलाएंधरती मां के आंचल को हमरंगीन फूलों से सजाएंआओ मिलकर पेड़ लगाएं।। न रहे रिश्तों में कभी…

  • चांदनी रात

    चांदनी रात चांदनी रात मेंपिया की याद सताएमिलने की चाहदिल में दर्द जगाए।। हवा की तेज लहरजिगर में घोले जहरकैसे बताऊं मैं तुम्हेंसोई नहीं मैं…