खामोशियों पर कविता
अपनी भावनाओं में
ख़ामोश विचारों से
रखकर
मन को दूर देखा
मौन दरख्तो को
सिसकते हुए देखा
हृदय से बिछुड़ती हुई
भावनाओं की भावना
को देखा
जो तलाश रही थी
उन खामोशियों में
अपनों को।।
अपनी भावनाओं में
ख़ामोश विचारों से
रखकर
मन को दूर देखा
मौन दरख्तो को
सिसकते हुए देखा
हृदय से बिछुड़ती हुई
भावनाओं की भावना
को देखा
जो तलाश रही थी
उन खामोशियों में
अपनों को।।