हकीकतों पर कविता
परिवर्तन के इस
दौर में
मैं एक ऐसे मोड़
पर खड़ा हूं
जहां से मुझे एक
निर्णायक निर्णय
लेना है
परंतु
कुछ निर्णय
लेने के पूर्व
उन हकीकतों से
भी मुंह मोड़ना
मुझे मंजूर नहीं।।।
परिवर्तन के इस
दौर में
मैं एक ऐसे मोड़
पर खड़ा हूं
जहां से मुझे एक
निर्णायक निर्णय
लेना है
परंतु
कुछ निर्णय
लेने के पूर्व
उन हकीकतों से
भी मुंह मोड़ना
मुझे मंजूर नहीं।।।