सीमा पर है जो खड़ा
सीमा पर है जो खड़ा सीमा पर है जो खड़ा , अपना सीना तान ।उसके ही परित्याग से , रक्षित हिंदुस्तान ।।रक्षित हिंदुस्तान , याद कर सब कुरबानी ।करे शीश का दान , हिंद का अद्भुत दानी ।।कह ननकी कवि तुच्छ , कहें सब अर्जुन भीमा ।पराक्रमी शूर शौर्य , नहीं जिसकी बल सीमा … Read more