"कविता बहार" हिंदी कविता का लिखित संग्रह [ Collection of Hindi poems] है। जिसे भावी पीढ़ियों के लिए अमूल्य निधि के रूप में संजोया जा रहा है। कवियों के नाम, प्रतिष्ठा बनाये रखने के लिए कविता बहार प्रतिबद्ध है।
फिर कहते हो ये खराब थी मोबाइल दिया, आया बनाया, खाना खिलाया होटल में; इंटरनेट पर पहली पीढ़ी सवार थी, फिर कहते हो पीढ़ी खराब थी। बाहें चढ़ाई, दुपहिया दौड़ाया,…
महामारी से भी मिला उपहार-समय के सदुपयोग की कला और जीवन शैली में सुधार। कोरोना जैसी महामारी फैली,बदल गई, जीवन की शैली।।समय का इसने सदुपयोग सिखाया,जीने का नया ढंग समसाझा।…
हे मेहनतकशों इन्हें पहचान /राजकुमार मसखरे कितने राजनेताओं के सुपुत्रसरहद में जाने बना जवान !कितने नेता हैं करते किसानीये सुन तुम न होना हैरान !बस फेकने, हाँकने में माहिरजनता को…
प्रेम में पागल हो गया रूप देख मन हुआ प्रभावित,हृदय घायल हो गया।सुंदरी क्या कहूं मैं,तेरे प्रेम में पागल हो गया। भूल गया स्वयं को,नयनों में बसी छवि तेरी।हृदयाकांक्षा एक…
संस्कार नही मिलता दुकानों में - परमानंद निषाद "प्रिय" माता-पिता से मिले उपहार।हिंद देश का है यह संस्कार।बुजुर्गो का दर्द समझते नहींनहीं जानते संस्कृति- संस्कार। संस्कार दिये नहीं जाते है।समाज…