"कविता बहार" हिंदी कविता का लिखित संग्रह [ Collection of Hindi poems] है। जिसे भावी पीढ़ियों के लिए अमूल्य निधि के रूप में संजोया जा रहा है। कवियों के नाम, प्रतिष्ठा बनाये रखने के लिए कविता बहार प्रतिबद्ध है।
निषादराज के दोहे (1) पाषाणमत बनना पाषाण तू,मन में रखना धीर।दया धर्म औ प्यार से,बोलो ज्यों हो खीर।। (2) क्षितिजदूर क्षितिज पर आसमां,नीला रंग निखार।जैसे श्यामल गात हो,सुन्दर कृष्ण मुरार।।…
जात-पात पर दोहे जात-पात के रोग से, ग्रस्त है सारा देश|भेद-भाव ने है दला, यहाँ पर वर्ग विशेष|| जात-पात के जहर से, करके बंटा-धार|मरघट-पनघट अलग हैं, करते नहीं विचार|| जात-पात…
आदमी का प्रतिरूप पर कविता-विनोद सिल्ला आदमीनहीं रहा आदमीहो गया यन्त्र सा जिसका नियन्त्रण हैकिसी न किसीनेता के हाथकिसी मठाधीश के हाथया फिर किसीधार्मिक संस्था के हाथजिसका आचरण है नियंत्रितउपरोक्त…
संभव क्यों नहीं कविता कामना हैन हो कोई सरहदन हो कोई बाधाभाषाओं कीविविधताओं कीजाति-पांतियों कीसभी दिलों में बहेएक-सी सरितासबके कानों में गूंजेएक-से तरानेसबके कदम उठेंऔर करें तयबीच के फांसलेयह सबनहीं…
सुंदरता पर कविता *प्रकृति की सुंदरता को देखकर,**मेरा मन प्रसन्न हो गया,**प्रकृति की गोद मे अपनी सारी जिंदगी यही कही खो गया,**कभी सुखी धरा पर धूल उड़ती है,**तो कभी हरियाली…
हौसला हर व्यक्ति के जीवन में महत्वपूर्ण है, खासकर जब हम परिस्थितियों के खिलाफ स्थिर रहने के लिए अपना विश्वास खो देते हैं। यह हमें हार नहीं मानने की शक्ति…