मातृभूमि- कविता – मौलिक रचना – अनिल कुमार गुप्ता “अंजुम”

इस रचना में कवि एक वीर सैनिक की माँ की भावनाओं को व्यक्त कर रहा है जो अपनी माँ से कहकर गया था कि वो युद्ध जीतकर वापस लौटेगा किन्तु…….|
मातृभूमि- कविता – मौलिक रचना – अनिल कुमार गुप्ता “अंजुम”

मनीभाई के पिरामिड रचना

मनीभाई के पिरामिड रचना ★कलम,कागज,कलमकार★मैंएकअबूझतुकबंदीकलमकारहोता ज्यों व्यथितदेता उसे आकारहै मेरे सहचरकलम कागजमुखर नहींमुझ जैसानिशब्ददोनोंही। मनीभाई”नवरत्न” मनीभाई के पिरामिड रचना ★मरणासन्न★ येमेरीकौन सीहै अवस्थाजहाँ से अबदिखता है सचहोने लगा पवित्रकैसी भुलभुलैयाअब चला पतामरणासन्नहकीकतजिन्दगीदिखादी। “मनीभाई”नवरत्न” मनीभाई के पिरामिड रचना ★रिश्ते नातों का जाल★ ये जगअजीबजहाँ परहोती सबकीअलग जिन्दगीतथापि समाहितरिश्ते नातों का जालखट्टी मीठी यादेंआगे बढ़ातीकहानी कोहरेकसिरेमें।“मनीभाई” नवरत्न,मनीभाई … Read more

पेड़ बुलाते मेघ -हाइकु संग्रह की समीक्षा , हाइकुकार-रमेश कुमार सोनी एवं समीक्षक-डॉ.पूर्वा शर्मा-वड़ोदरा

हाइकु

हाइकु एक जापानी विधा की लेखन शैली है जिसमें कविता का होना अनिवार्य होता है.यह मेरा दूसरा हाइकु संग्रह है.इसकी भूमिका वरिष्ठतम हाइकुकार डॉ.सुधा गुप्ता जी -मेरठ ने लिखी है.