हिंदी संग्रह कविता-एकता अमर रहे

एकता अमर रहे देश है अधीर रे!अंग-अंग पीर रे!वक्त की पुकार पर,उठ जवान वीर रे!दिग्-दिगंत स्वर रहे!एकता अमर रहे!!एकता अमर रहे !! गृह-कलह से क्षीण आज देश का विकास है,कशमकश में शक्ति का सदैव दुरुपयोग है।हैं अनेक दृष्टिकोण, लिप्त स्वार्थ-साध में,व्यंग्य-बाण-पद्धति का हो रहा प्रयोग है।देश की महानता,श्रेष्ठता, प्रधानता,प्रश्न है समक्ष आज,कौन, कितनी जानता?सूत्र सब … Read more

जयी बनो – जयशंकर प्रसाद

कविता बहार में आप का सवागत है आज हम जयशंकर प्रसाद की एक कविता जाई बनो इसके बारे में यह पढेंगे ,आसा है यह कविता आप आत्यन्त पसंद आयेगी जयी बनो – जयशंकर प्रसाद हिमाद्रि तुंग शृंग से प्रबुद्ध शुद्ध भारतीस्वयं प्रभा समुज्वला स्वतंत्रता पुकारती। अमर्त्य वीर पुत्र हो दृढ़ प्रतिज्ञ सोच लो,प्रशस्त पुण्य पंथ … Read more

प्रयाण गीत – गोपालप्रसाद व्यास

प्रयाण संगीत (march) एक प्रकार का संगीत है जो प्रायः सैनिक वाद्य (मिलिटरी बैण्ड) में प्रयुक्त होती है। प्रयाण-गीत गाए जा!- गोपालप्रसाद व्यास प्रयाण-गीत गाए जा ! स्वर में स्वर मिलाए जा।यह ज़िन्दगी का राग है, जवान जोश खाए जा!प्रयाण-गीत गाए जा! तू कौम का सपूत है, स्वतन्त्रता का दूत है,निशान अपने देश का उठाए जा, उठाए जा! … Read more

हर हर महादेव पर कविता

हर हर महादेव पर कविता – शंकर या महादेव सबसे महत्वपूर्ण देवताओं में से एक है। वह त्रिदेवों में एक देव हैं। इन्हें देवों के देव महादेव भी कहते हैं। इन्हें भोलेनाथ, शंकर, महेश, रुद्र, नीलकंठ, गंगाधार आदि नामों से भी जाना जाता है। तंत्र साधना में इन्हे भैरव के नाम से भी जाना जाता है। हर हर महादेव पर कविता हर-हर … Read more

स्वदेश पर कविता – गोपाल सिंह नेपाली

स्वदेशी का अर्थ है- ‘अपने देश का’ अथवा ‘अपने देश में निर्मित’। ओ स्वदेश की जवानियो, चलो उठो-उठो इतिहास की निशानियों, चलो उठो-उठोओ खून की खामियो, चलो उठो-उठोहम जन्म लें स्वतंत्र ही, स्वतंत्र ही मरें,तुम अर्चना करो, अमोघ अर्चना करो अधिकार लो, सदा न भीख माँगते रहोसंग्राम से जनम-जनम न भागते रहो।छाई घटा, चली हिलोर, … Read more