शाकाहार/ वीरेंद्र सालेचा

Vegetable Vegan Fruit

शाकाहार सर्वोत्तम आहार

तीर्थंकर के वर्तमान प्रतिनिधि,
देते जग को अणुव्रतों का संदेश।
मांसाहार को त्याग कर इंसान,
शाकाहार अपनाए विश्व के देश।।

किसी धर्म सम्प्रदाय ग्रंथ में नहीं,
मिलता हिंसा को तनिक भी स्थान।
फिर क्यों भोजन की थाली में,
पिरोसा जाता मांसाहारी पकवान।।

मांसाहार से होती तन में व्याधि,
कई बीमारियों की लाती उपाधि।
तामसिक आहार से मति बिगड़ती,
देश मे बनते कई नए अपराधी।।

अबोल पशुओ के करुण चीत्कार
से बना भोजन नहीं है हितकारी
जीवदयाकर मांसाहार को त्यागे
बन जाये व्यक्ति पूर्ण शाकाहारी

मूकबधिर जानवरों के खान पान से,
विश्व मे फैलती जानलेवा महामारी।
स्वस्थ शरीर स्वस्थ देश बनाने हेतु,
आज से ही बन जाये पूर्ण शाकाहारी।।

🖋 वीरेंद्र सालेचा- अहमदाबाद

कविता बहार

"कविता बहार" हिंदी कविता का लिखित संग्रह [ Collection of Hindi poems] है। जिसे भावी पीढ़ियों के लिए अमूल्य निधि के रूप में संजोया जा रहा है। कवियों के नाम, प्रतिष्ठा बनाये रखने के लिए कविता बहार प्रतिबद्ध है।