यहाँ पर हिन्दी कवि/ कवयित्री आदर0माधुरी डड़सेना के हिंदी कविताओं का संकलन किया गया है . आप कविता बहार शब्दों का श्रृंगार हिंदी कविताओं का संग्रह में लेखक के रूप में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका अदा किये हैं .

मन पर कविता

मन पर कविता सोचा कुछहो जाता कुछ हैमन के ही सब सोचमन को बांध सका न कोईमन खोजे सब कोय।।⭕हल्के मन से काम करो तोसफल रहे वो कामबाधा अगर कोई…

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सितारे पर कविता – माधुरी मोहिनी

सितारे पर कविता -  माधुरी मोहिनी परियाँ नभ लोक धरा उतरी यह देख अचंभित है जन सारे। मुख ओज भरे चमके छड़ियाँ पर शोभित है मणि राज सितारे।। कहती सब…

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बेवफ़ाई पर ग़ज़ल – माधुरी डड़सेना ” मुदिता”

बेवफ़ाई पर ग़ज़ल क्या शिकायत करें जब वफ़ा ही नहींफासले बढ़ रहे अब ख़ता ही नहीं। क्यूं उदासी यहाँ घेर डाला हमेंरोशनी दिल जिगर में हुआ ही नहीं। गर्दिशों में…

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माँ पर गजल

यहां पर माधुरी डर सेना द्वारा माँ पर बेहतरीन ग़ज़ल लिखा गया है।यहाँ मान पर हिंदी कविता लिखी गयी है .माँ वह है जो हमें जन्म देने के साथ ही…

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तुकांत क्या है ?

तुकान्त क्या है ?     काव्य पंक्तियों के अंतिम भाग में पायी जाने वाली वर्णों की समानता को तुकान्त कहते हैं।      कविता के शिल्प में तुकान्त का…

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समझाये सबो मोला (छत्तीसगढ़ी गजल)

पगला कहे दुनिया समझाये सबो मोला ।का तोर मया हे दिखलाये सबो मोला ।। मन मोर भरम जाये वो ही गोठ ला करथेंदुरिहा चले जावों भरमाये सबो मोला । मँगनी…

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कतको दीवाना हे (छत्तीसगढ़ी गजल)

कतको दीवाना हे (छत्तीसगढ़ी गजल) किस्मत के सितारा हा चमक जाही लगत हे ।मन तोर दीवाना हे भटक जाही लगत हे ।। खुशबू ले भरे तन मा रथे मन घलो…

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तीजा पोरा के दिन आगे

छत्तीसगाढ़ी रचना तीजा पोरा के दिन आगे तीजा पोरा के दिन आगे चलो मइके दुआरी माउहाँ दाई डहर देखे अपन चढ़के अटारी मा । गुड़ी मा बैठ के रद्दा निहारत…

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नये तराने – माधुरी मुस्कान ग़ज़ल

कविता संग्रह नये तराने - माधुरी मुस्कान ग़ज़ल करीब आओ न दूर जाओ मुझे गले से सनम लगा लो।न जी सकेंगे न मर सकेंगे जहाँ भी हो तुम हमे बुला…

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तुम ही तुम हो – माधुरी डड़सेना मुदिता

कविता संग्रह तुम ही तुम हो भावना में बसे हो कामना में तुम्हीं हो ।जिंदगी बन गये हो साधना में तुम्हीं हो ।।वादियाँ खूबसूरत हर नजारा हंसी है ईश की…

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