मन पर कविता

मन पर कविता सोचा कुछहो जाता कुछ हैमन के ही सब सोचमन को बांध सका न कोईमन खोजे सब कोय।।⭕हल्के मन से काम करो तोसफल रहे वो कामबाधा अगर कोई आ जायेबाधित हो हर काम।।⭕मन गिरे तन मुरझायेवैद्य काम नही आयेगाँठे मन गर कोई खोलेसच्चा गुरु वो कहाये।।⭕मन के ही उद्गम स्रोत सेउपजे सुख व … Read more

सितारे पर कविता – माधुरी मोहिनी

सितारे पर कविता –  माधुरी मोहिनी परियाँ नभ लोक धरा उतरी यह देख अचंभित है जन सारे। मुख ओज भरे चमके छड़ियाँ पर शोभित है मणि राज सितारे।। कहती सब पूरन कार्य पड़ा सुरधाम चलो शिव है बलिहारे। यह संगम का युग शेष अभी पुरुषार्थ करो चलना प्रभु द्वारे।। इस जीवन के अब हो तुम … Read more

बेवफ़ाई पर ग़ज़ल – माधुरी डड़सेना ” मुदिता”

बेवफ़ाई पर ग़ज़ल क्या शिकायत करें जब वफ़ा ही नहींफासले बढ़ रहे अब ख़ता ही नहीं। क्यूं उदासी यहाँ घेर डाला हमेंरोशनी दिल जिगर में हुआ ही नहीं। गर्दिशों में फँसी नाव मेरी यहाँबस धुँआ ही रहा मैं जला ही नहीं । आरजू थी चले हमसफ़र बनके हमदर्द इतना बढ़ा की दुआ ही नहीं । … Read more

माँ पर गजल

mother their kids

यहां पर माधुरी डर सेना द्वारा माँ पर बेहतरीन ग़ज़ल लिखा गया है।यहाँ मान पर हिंदी कविता लिखी गयी है .माँ वह है जो हमें जन्म देने के साथ ही हमारा लालन-पालन भी करती हैं। माँ के इस रिश्तें को दुनियां में सबसे ज्यादा सम्मान दिया जाता है। माँ पर गजल बड़ी खूबसूरत सी सौगात … Read more

तुकांत क्या है ?

तुकान्त क्या है ?     काव्य पंक्तियों के अंतिम भाग में पायी जाने वाली वर्णों की समानता को तुकान्त कहते हैं।      कविता के शिल्प में तुकान्त का विशेष महत्व है, इसलिए काव्य-साधना के लिए तुकान्त-विधान समझना आवश्यक है। आइए हम तुकान्त को समझने का प्रयास करें ।       इसे समझने … Read more