आकर्षण या प्रेम पर कविता

आकर्षण या प्रेम मीरा होना आसान नहीं,ज़हर भी पीना पड़ता है।त्याग, प्रेम की परिभाषा,जीवंत निभाना पड़ता है।। हीर रांझा, लैला मंजनू,अब नहीं कहीं मिलते हैं।दिल में दिमाग उगे सबके,प्रेम का व्यापार करते हैं।। सुंदर प्रकृति, सुंदर लोग,दिल लुभावने लगते हैं।पर आकर्षण के वशीभूत,प्रेम कलंकित भी करते हैं।। नहीं होता वो प्रेम कतई,जो सुंदरता से उपजा … Read more

गणतंत्र दिवस पर कविता

Happy Republic day

गणतंत्र दिवस पर कविता : गणतन्त्र दिवस भारत का एक राष्ट्रीय पर्व है जो प्रति वर्ष 26 जनवरी को मनाया जाता है। इसी दिन सन् 1950 को भारत सरकार अधिनियम (1935) को हटाकर भारत का संविधान लागू किया गया था। गणतंत्र पर दोहा वीरों के बलिदान से,मिला हमें गणतंत्र।जन-जन के सहयोग से,बनता रक्षा यंत्र।। गणतंत्र दिवस हो अमर,वीरों को कर याद।अपनों के बलिदान से,भारत है … Read more

होली पर कविता

holi

होली पर कविता होली वसंत ऋतु में मनाया जाने वाला एक महत्वपूर्ण भारतीय और नेपाली लोगों का त्यौहार है। यह पर्व हिंदू पंचांग के अनुसार फाल्गुन मास की पूर्णिमा को मनाया जाता है। प्राचीन काल में लोग चन्दन और गुलाल से ही होली खेलते थे। समय के साथ इनमें भी बदलाव देखने को मिला है। कई लोगों द्वारा प्राकृतिक रंगों का भी उपयोग किया जा रहा है, जिससे त्वचा या … Read more

शहीद दिवस पर श्रद्धांजलि – राकेश सक्सेना

शहीद दिवस पर श्रद्धांजलि – राकेश सक्सेना बापू तुम जब चले गये, पीछे बहुत बवाल हुआ।आजादी के बाद देश में, रह रह कर सवाल हुआ।। हे बापू तुमने क्या किया? हे बापू तुमने क्या किया? सूत काता, चरखा चलाया, खादी पहन देशी अपनाया।नमक आंदोलन, डांडी यात्रा, अनशन कर फिरंगी भगाया।। स्वदेशी का आगाज़ कर, विदेशियों … Read more

बाल हृदय -राकेश सक्सेना

बाल हृदय हर इंसान के दिल में बसता है। बाल हृदय उम्र का मोहताज नहीं होता। उसे हर उम्र में जिंदा रखना ही बाल दिवस है।