नया अब साल है आया – उपमेंद्र सक्सेना

नया अब साल है आया नया अब साल है आया, रहे इंसानियत कायममुहब्बत के चिरागाँ इसलिए हमने जलाए हैं। सुकूने बेकराँ मिलती, अगर पुरशिस यहाँ पे होन हो वारफ़्तगी कोई, दिले मुज्तर कहीं क्यों होनवीदे सरबुलंदी से, जुड़ें सब ये तमन्ना हैसरे आज़ार के पिन्दार को कुदरत यहाँ दे धो अमीरों के घरों में खूब … Read more

लातन को जो भूत हियन पै – उपेन्द्र सक्सेना

लातन को जो भूत हियन पै पर कविता जिसके मन मै ऐंठ भरै बौ, अपने आगे किसकौ गिनिहैलातन को जो भूत हियन पै,बातन से बौ नाहीं मनिहै। अंधो बाँटै आज रिबड़ियाँ, अपनिन -अपनिन कौ बौ देबैनंगे- भूखे लाचारन की, नइया कौन भलो अब खेबैआँगनबाड़ी मै आओ थो, इततो सारो माल बटन कौबच्चन कौ कछु नाय … Read more

करवाचौथ पर हिंदी कविता

करवा चौथ पर कविता

करवाचौथ पर हिंदी कविता- करवा चौथ हिन्दुओं का एक प्रमुख त्योहार है। यह भारत के जम्मू, हिमाचल प्रदेश, पंजाब, उत्तर प्रदेश, हरियाणा, मध्य प्रदेश और राजस्थान में मनाया जाने वाला पर्व है। यह कार्तिक मास की कृष्ण पक्ष की चतुर्थी को मनाया जाता है। यह पर्व सौभाग्यवती (सुहागिन) स्त्रियाँ मनाती हैं। यह व्रत सवेरे सूर्योदय से पहले लगभग 4 बजे से आरंभ होकर रात में चंद्रमा दर्शन के उपरांत संपूर्ण होता है।

कहानी सम्राट मुंशी प्रेमचंद जी पर कविता

व्यक्तित्व विशेष कविता संग्रह

कहानी सम्राट मुंशी प्रेमचंद जी पर कविता हाँ मुंशी प्रेमचंद जी , साहित्यकार थे ऐसेमानवता की नस-नस को पहचान रहे हों जैसे। सन् अठ्ठारह सौ अस्सी में अंतिम हुई जुलाईतब जिला बनारस में ही लमही भी दिया सुनाईआनंदी और अजायब जी ने थी खुशी मनाईबेटे धनपत को पाया, सुग्गी ने पाया भाईफिर माता और पिता … Read more

लोकनायक जयप्रकाश नारायण पर कविता

लोकनायक जयप्रकाश नारायण पर कविता जयप्रकाश नारायण सिन्हा जी को हम तो,अपने जीवन के सपनों में सचमुच लाएँबने लोकनायक वे ऐसा ज्ञान दे गए,जिससे हम मानवता को फिर से पनपाएँ। छपरा जो बिहार में गाँव सिताब दियारा,अब उत्तर प्रदेश के बलिया में है न्याराग्यारह अक्टूबर को सन् उन्नीस सौ दो में,वहीं जन्म ले जो सबका … Read more